भाकृअनुप-भारतीय मृदा एवं जल संरक्षण संस्थान, देहरादून द्वारा प्रकाशित हिंदी ई-पत्रिका "बुरांश" को "उत्कृष्ट प्रकाशित हिंदी गृह पत्रिका (2023-24)" श्रेणी में तृतीय पुरस्कार प्रदान किया गया। यह सम्मान नगर राजभाषा कार्यान्वयन समिति (कार्यालय-2), देहरादून की छमाही बैठक में दिया गया, जो 26 नवंबर, 2024 को आयोजित हुई। यह प्रतिष्ठित पुरस्कार नराकास (कार्यालय-2) के 72 सदस्य कार्यालयों में उत्कृष्टता के लिए प्रदान किया गया।
संस्थान की ओर से यह पुरस्कार डॉ. एम. मुरुगानंदम, प्रभागाध्यक्ष, पीएमई एवं ज्ञान प्रबंधन प्रकोष्ठ, भाकृअनुप-भामृजसंसं, देहरादून और श्री आशुतोष कुमार तिवारी, उप निदेशक (राजभाषा) ने ग्रहण किया। डॉ. मुरुगानंदम पत्रिका के तकनीकी संपादकों में से एक हैं, जबकि श्री तिवारी पत्रिका के मुख्य संपादक हैं।
"बुरांश" में मृदा, जल और ऊर्जा संरक्षण जैसे विषयों पर तकनीकी और लोकप्रिय सामग्री की विस्तृत श्रृंखला प्रकाशित की जाती है। यह हिंदी भाषा की समृद्धि और अनोखापन भी उजागर करती है, जिसमें विभिन्न लेखकों के लेख शामिल होते हैं। पत्रिका में तकनीकी लेख, कविताएँ, कहानियाँ, और राजभाषा हिंदी के नियमों और दिशानिर्देशों को भी सम्मिलित किया गया है।
कार्यक्रम के दौरान, भाकृअनुप- आईआईएसडब्ल्यूसी, देहरादून द्वारा पूर्व में आयोजित निबंध प्रतियोगिता के छह विजेताओं को सम्मानित किया गया। पुरस्कार वितरण डॉ. एम. मुरुगानंदम, श्रीमती आर.एस. नारायणी, कार्यकारी निदेशक (मुख्य प्रशासन प्रमुख), ओएनजीसी, देहरादून, डॉ. छबिल कुमार मेहेर, उप निदेशक, राजभाषा कार्यान्वयन कार्यालय (उत्तरी क्षेत्र कार्यालय-2), नई दिल्ली और श्री आशुतोष कुमार तिवारी, द्वारा किया गया। इस समारोह में देहरादून स्थित 72 सदस्य कार्यालयों के 150 से अधिक प्रतिनिधियों ने भाग लिया।